साहिबाबाद । समाजवादी पार्टी के पूर्व विधान सभा प्रत्याशी वीरेन्द्र यादव एडवोकेट के नेतृत्व में “मकर संक्रांति समारोह” का आयोजन किया गया। इस अवसर पर विभिन्न स्थानों पर समाज के कमजोर वर्गों में तिल, गुड, रेवड़ी, मूंगफली, गज्जक व खिचड़ी का वितरण किया गया। कार्यक्रम का आयोजन इंजीनियर धीरेन्द्र यादव ने किया।कार्यक्रम में शामिल सैकड़ों लोगों ने तिल, गुड़, गज्जक व खिचड़ी का आनंद लिया ।
यह आयोजन 1, स्वरूप पार्क जी0 टी0 रोड साहिबाबाद ज्ञानपीठ केन्द्र के प्रांगण में किया गया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता रामदुलार यादव ने कहा कि उत्तर भारत में मकर संक्रांति (खिचड़ी) दक्षिण भारत में पोंगल के नाम से हर्षोल्लास के साथ मनायी गयी। यह पर्व खेत में किसान की लहलहाती फसल, खिले हुए सरसों के फूल, खेत की हरियाली को देखकर जो खुशी किसान परिवार को होती है, उसी खुशी में यह त्योहार मनाया जाता है। पौराणिक काल में इसे पवित्र नदियों में स्नान करने वाले पुण्य लाभ से जोड़ दिया गया कि नदियों में स्नान करने से सारे पाप धुल जाएंगे। मेरा मानना है कि यह कोरी कल्पना व पाखंड है। आज हमारी नदियां इतनी प्रदूषित हो गई हैं कि नहाने से पुण्य तो नहीं मिलेगा, बल्कि नहाने वाले बीमार अवश्य पड़ जाएंगे क्योंकि नदियों में गिरने वाले सीवर व नाले जब तक बंद नहीं होंगे, तब तक यह समस्या बनी रहेगी हमारी पवित्र नदियां प्रदूषित ही रहेंगी।
सामाजिक चिंतक रामदुलार यादव ने कहा कि हजारों, हजारों करोड़ रूपया खर्च करने के बाद भी देश की नदियों में स्वच्छ जल का संकट है। जब कोई पर्व पड़ता है तो अस्थाई हल प्रशासन निकालता है पहले से इकट्ठा पानी नदियों में छोड़ दिया जाता है, स्नान के बाद वही स्थित फिर हो जाती है और पानी काला का काला ही रहता है। हम इस अवसर पर कहना चाहते हैं कि नदियां हमारे देश की मानव जीवन के लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं, प्राण है, इन्हें निर्मल बनाने के लिए, प्रदूषण मुक्त करने के लिए, स्नान करने लायक बनाने के लिए दृढ़ संकल्प, प्रबल इच्छाशक्ति की आवश्यकता है, तभी हम पर्व व स्नान के माध्यम से देश में समता, सद्भाव, भाईचारा बढ़ा सकते हैं। दूर-दराज के लोग आपस में मिलकर नव निर्माण कर सकते हैं, जहां सत्य, अहिंसा, प्रेम, सहिष्णुता होगी। नफरत, पाखंड के लिए कोई स्थान नहीं होगा।
सैकड़ों लोगों ने खिचड़ी का आनंद लिया जिनमें प्रमुख रहे डॉक्टर देवकर्ण चैहान, प्रख्यात कवि अवधेश मिश्र एडवोकेट, मंगल सिंह चैहान, ब्रह्म प्रकाश, मुनीव यादव, शिवशंकर शर्मा, अनिल मिश्र, रहमत अली, हरिशंकर यादव, विजय मिश्रा, सीपी सिंह, अवधेश यादव, अंशु ठाकुर, गुड्डू यादव, हरिकिशन, प्रेम चंद पटेल, हिमांशु सैनी, केदार सिंह, सुभाष यादव, अमर बहादुर यादव, अजयवीर, दिलीप यादव, सुरेश कुमार भारद्वाज, रैदास, शिवा, रिंकू, अनिल, कोमल, अरुण कुमार पटेल, धनंजय, सुधीर उपाध्याय, पुलिस राय, विजय वीर, भरत आदि उपस्थित रहे।
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