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कोरोना पॉजिटिव का इलाज करने पर शहर के तीन डॉक्टरों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज

मुजफ्फरनगर lकोरोना संक्रमित मिली दाल मंडी निवासी महिला शिक्षिका की कांटेक्ट चेन में आने पर नगर में तीन चिकित्सकों के क्लिनिक/अस्पताल प्रशासन ने सील कर दिए हैं। चिकित्सकों को होम क्वारंटाइन में रहने के निर्देश दिए गए हैं। सीएमओ कार्यालय को बिना सूचना दिए बुखार पीड़ित महिला व उसके परिजनों का उपचार करने वाले तीनों चिकित्सकों के खिलाफ सीएमओ ने इन्फैक्शन प्रिवेंशन कंट्रोल (आईपीसी) के प्रशिक्षण में कोविड-19 के संबंध में दिए गए निर्देशों का पालन न करने पर सीएमओ ने एपिडेमिक एक्ट एवं विधियों के तहत कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराई है। उधर महिला के परिजनों समेत उसकी फर्स्ट कांटेक्ट में आए कुल 15 लोगों को प्रशासन ने उनके घरों से बुलाकर इंस्टीटयूशनल क्वारंटाइन कर दिया है।


 


 


 


मुजफ्फरनगर में दाल मंडी में निवासी नगर के एक डिग्री कॉलेज में कार्यरत शिक्षिका के कोरोना संक्रमित मिलने से प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग की चिंता बढ़ गई है। दरअसल महिला और उसके परिवार के अन्य सदस्य को लगातार खांसी व बुखार बना हुआ था। यह कोरोना का लक्षण होता है। उसने सबसे पहले चौधरी चरण सिंह मार्किट में वरिष्ठ फिजीशियन डा.एमएल गर्ग को दिखाया। हालांकि वह करीब दस दिन पूर्व उन्हें दिखाने गई थी। महिला के खांसी बुखार के लक्षण देखकर उन्होंने कोरोना टेस्ट कराने की सलाह दी थी। इसके बाद महिला ने भगत सिंह रोड पर डा. अरूण अरोरा से भी अपने पुत्र के बुखार का उपचार कराया। इसके बाद वह अपने पुत्र को दिखाने के लिए सदर बाजार में डा. हेमंत कुमार के यहां भी गई। बताया जाता है कि उसे तीन दिन से तो तेज बुखार था इसलिए चिकित्सकों ने उसका कोरोना टेस्ट कराया। उसके कोरोना पॉजिटिव आने से हडकंप मच गया। एसपी सिटी सतपाल अंतिल और नगर मजिस्ट्रेट अतुल कुमार की टीम ने महिला से उसकी कांटेक्ट चेन की जानकारी ली तो उसने बताया कि वह अपने बच्चे को दिखाने सदर बाजार में डा. हेमंत के हॉस्पिटल में गई थी। उसने डा.एमएल गर्ग से स्वयं व परिवार के अन्य सदस्य का उपचार कराया और डा. अरूण अरोरा से भी बेटे के बुखार का उपचार कराने की बात कही तो प्रशासन ने इन तीनों डाक्टरों के क्लीनिक फिलहाल सील कर दिए हैं। चिकित्सकों को फिलहाल होम क्वारंटाइन पर रहने को कहा गया है। सीएमओ डा. प्रवीण कुमार चोपडा ने नगर कोतवाली में तीनों चिकित्सकों के खिलाफ तहरीर देते हुए आरोप लगाया कि कोविड-19 के संबंध में इन्फेक्शन प्रिवेंशन कंट्रोल (आईपीसी) के प्रशिक्षण में समस्त निजी चिकित्सकों को अवगत करा दिया गया था कि किसी भी निजी नर्सिंग होम, निजी हॉस्पिटल या क्लिनिक और पैथोलॉजी लैब में अगर कोई खांसी, बुखार, सांस लेने में कठिनाई आदि लक्षणों वाला मरीज उपचार कराने को आता है तो उसकी सूचना तत्काल मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय में उपलबध कराई जाएं। तीनों चिकित्सकों ने महिला व उसके परिवार के दो अन्य सदस्यों का उपचार किया। (तहरीर में तीनों के नाम दिए गए हैं) पर इनकी सूचना सीएमओ कार्यालय को नही दी गई। उन्होंने कोतवाली प्रभारी से उक्त तीनों चिकित्सकों के खिलाफ एपिडेमिक एक्ट एवं विधियों के तहत सुसंगत धाराओं में कार्यवाही करने को कहा है।


 


 


 


उधर महिला के परिवार के करीब 11 सदस्यों समेत फर्स्ट कांटेक्ट के 15 सदस्यों को प्रशासन ने उनके घर से हटाकर इंस्टीटयूशनल क्वारंटाइन सैंटर में भेज दिया है। अभी तक यह स्पस्ट नही हुआ कि महिला किस कोरोना संक्रमित की चेन में आकर कोरोना पॉजिटिव मिली है। यही प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग की चिंता का कारण हैं क्योंकि महिला की ट्रैवल्स हिस्ट्री भी ऐसी नही हैं कि वह कोरोना संक्रमित हो। इसी को लेकर अधिक सतर्कता करती जा रही है। --मोबाइल की दुकान भी सील की गईमुजफ्फरनगर। अग्रवाल मार्किट में एक मोबाइल की दुकान पर भी संक्रमित मिली दाल मंडी की महिला मोबाइल खरीदने गई थी। उसकी कांटेक्ट चेन का पता लगने पर प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग की टीम मोबाइल विक्रेता से बात करने पहुंची तो रविवार का साप्ताहिक अवकाश होने के कारण यह बाजार बंद मिला। हालांकि मोबाइल की दुकान को भी फिलहाल सील किया गया है।


 


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